पीएम मोदी ने की सीजेआई गवई से बात, जूता फेंकने की कोशिश पर बोले, ‘हर भारतीय नाराज है’

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नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट में सोमवार 6 अक्टूबर को सुनवाई के दौरान एक वकील द्वारा की गई अभद्र हरकत ने पूरे देश को झकझोर दिया। एक वकील राकेश किशोर ने मुख्य न्यायाधीश बीआर गवई की अध्यक्षता वाली बेंच में हंगामा किया और कथित रूप से उन पर जूता फेंकने की कोशिश की।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस घटना की कड़ी निंदा करते हुए चीफ जस्टिस से फोन पर बात की और उनके धैर्य की सराहना की।

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, “आज सुप्रीम कोर्ट में मुख्य न्यायाधीश पर हुए हमले से हर भारतीय आहत है। हमारे समाज में ऐसे निंदनीय कृत्यों के लिए कोई स्थान नहीं है। यह अत्यंत शर्मनाक और अस्वीकार्य है।”

उन्होंने आगे कहा कि, “ऐसी स्थिति में सीजेआई बीआर गवई ने जो संयम और धैर्य दिखाया है, वह न्यायपालिका के गौरव और संविधान के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को दर्शाता है।”

जानकारी के अनुसार, जब सीजेआई गवई मेंशनिंग सुनवाई कर रहे थे, तभी वकील राकेश किशोर अचानक भड़क उठे और कोर्ट रूम में नारे लगाने लगे। बताया जा रहा है कि उन्होंने ‘सनातन का अपमान नहीं सहेंगे’ का नारा लगाया।

घटना के दौरान सीजेआई पूरी तरह शांत रहे और कहा, “हम इस तरह की हरकतों से प्रभावित नहीं होते, कोर्ट की कार्यवाही जारी रहेगी। न्यायिक प्रक्रिया में किसी भी तरह की बाधा स्वीकार्य नहीं है।”

इसके बाद सुरक्षाकर्मियों ने संबंधित वकील को हिरासत में लेकर सुप्रीम कोर्ट परिसर स्थित डीसीपी कार्यालय में पूछताछ के लिए ले जाया गया।

सुप्रीम कोर्ट एडवोकेट्स-ऑन-रिकॉर्ड एसोसिएशन (SCAORA) ने इस घटना की कड़े शब्दों में निंदा की। संगठन ने कहा, “हम एक वकील के ऐसे अनुचित और असंयमित व्यवहार से गहराई से आहत हैं। इस कृत्य ने भारत के मुख्य न्यायाधीश और न्यायपालिका की गरिमा को ठेस पहुंचाई है।”